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हिसार प्रशासन ने निकाला टेंडर: प्रतीक चिन्ह (लोगो) बनाने के इच्छुक व्यक्ति/डिजाइनर/कलाकार एवं आमजन के लिए प्रविष्टियां आमंत्रित

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Hisar administration issues tender: Entries invited for interested persons/designers/artists and general public for making logo


KPS Haryana News :
उपायुक्त अनीश यादव ने बताया कि प्रदेश सरकार द्वारा वीर शहीदों को सम्मान देने की उद्देश्य को लेकर आजादी की पहली लड़ाई का शहीद स्मारक का निर्माण किया जा रहा है। उन्होंने बताया कि इस स्मारक के संबंध में प्रतीक चिन्ह (लोगो) बनाने के इच्छुक व्यक्ति/डिजाइनर/कलाकार एवं आमजन से प्रविष्टियां आमंत्रित की गई हैं। जिस व्यक्ति के प्रतीक चिन्ह (लोगो) का चयन होगा उसे सूचना, जन संपर्क एवं भाषा विभाग हरियाणा की ओर से एक लाख रुपये का इनाम दिया जाएगा। प्रविष्टियां भेजने की अंतिम तिथि एक अप्रैल, 2025 को सायं 5 बजे तक रहेगी।


उपायुक्त अनीश यादव ने स्मारक के बारे में बताया कि अम्बाला-नई दिल्ली नेशनल हाईवे (एनएच-44) पर 22 एकड़ भूमि पर एक भव्य और विशाल शहीद स्मारक का निर्माण किया जा रहा है। उन्होंने बताया कि प्रतीक चिन्ह (लोगो) के संबंध में कुछ शर्तेंं निर्धारित की गई हैं। उन्होंने शर्तों का ब्यौरा देते हुए बताया कि सूचना, जन संपर्क एवं भाषा विभाग हरियाणा तथा संवाद सोसायटी के अधिकारियों/कर्मचारियों का छोडक़र सभी प्रतिभागी अपनी प्रविष्टियां एससीओ नंबर 200-201, सैक्टर 17-सी, चंडीगढ़ कार्यालय में अंतिम तिथि तक भेज सकते हैं।


आवेदन करने वाले का यह रखना होगा ख्याल :
उपायुक्त अनीश यादव ने बताया कि प्रविष्टि 1857 की क्रान्ति (भारत की आजादी की पहली लड़ाई) की थीम पर ही आधारित होगी। प्रतीक चिन्ह ऐसा हो जो स्मारक की पहचान को दर्शाने के साथ-साथ प्रेरणादायक भी हो। प्रतिभागी अपने प्रतीक चिन्ह के ऊपर कोई भी वाटर मार्क्स नहीं डालेगा यानी प्रतीक चिन्ह के ऊपर कुछ नहीं लिखेगा। सभी प्रतीक चिन्ह हाइ रिज्योलूशन में हों और उल्लेखित कैप्शन के साथ तकनीकी दृष्टि से सुदृढ़ होने चाहिए। कोई भी प्रतीक चिन्ह कॉपीराइट नहीं होना चाहिए, जिस प्रतीक चिन्ह का चयन होगा वह सरकार की संपत्ति मानी जाएगी और सरकार इस प्रतीक चिन्ह का कहीं भी प्रयोग करने में स्वतंत्र होगी। प्रतीक चिन्ह भेजने वाले प्रतिभागी का इस पर कोई अधिकार नहीं रहेगा।


उन्होंने बताया कि प्रतिभागी पर आयु और राष्ट्रीयता की कोई पाबन्दी नहीं है परन्तु थीम 1857 की क्रांति (भारत की आजादी की पहली लड़ाई) पर ही होनी चाहिए। सभी प्रतीक चिन्ह प प्रतिभागी के हस्ताक्षर होने चाहिए और प्रतीक चिन्ह का साइज 12&15 होना चाहिए। प्रतिभागी द्वारा अपनी प्रविष्टि व प्रतीक चिन्ह ई-मेल डायरेक्टरशहीदस्मारक एटदीरेट जीमेल डॉट कॉम पर भी भेजा जाए। भेजे जाने वाले प्रतीक चिन्ह का पूर्व में प्रकाशन व प्रदर्शन न हुआ हो। प्रतिभागियों द्वारा अपनी प्रविष्टि व्यक्तिगत ई-मेल से उपरोक्त ई-मेल पर भेजी जाए (प्रत्येक प्रतीक चिन्ह जेपीजी/जेपीईजी फॉर्मेट में अपलोड किया जाए और इसका साइज 10 एमबी से ज्यादा का न हो), प्रतिभागियों द्वारा तैयार प्रतीक चिन्ह हस्ताक्षरित एवं पूर्ण भरे हुए रजिस्ट्रेशन और डिक्लेरेशन फार्म के साथ भेजे जाए। एक बार प्रविष्टि मेल अथवा डाक द्वारा भेजे जाने के बाद उसमें बदलाव/निरस्तीकरण/जोडऩा मान्य नहीं होगा।


उपायुक्त अनीश यादव ने बताया कि सूचना, जन संपर्क एवं भाषा विभाग, हरियाणा के पास बिना किसी कारण अथवा स्पष्टीकरण के किसी भी प्रतिभागी की प्रविष्टि को अयोग्य और निकालने का अधिकार सुरक्षित रहेगा। प्रविष्टि अथवा प्रतीक चिन्ह में कोई भी व्यावसायिक सामग्री नहीं होनी चाहिए जो किसी भी उत्पाद या सेवा को बढ़ावा दें। बिना पूर्व सूचना के आवश्यकता पडऩे पर आयोजक के पास उपरोक्त प्रतीक चिन्ह सम्बन्धी पुरस्कार में परिवर्तन और नियमों/अधिनियमों में संशोधन करने का अधिकार सुरक्षित रहेगा। प्रतीक चिन्ह का चयन कमेटी द्वारा किया जाएगा और उनका निर्णय अन्तिम होगा। चयन प्रकिया और निर्णय से संबंधित किसी भी पत्राचार पर विचार नहीं किया जाएगा। यह प्रक्रिया गोपनीय रहेगी।

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